मंदसौर। भानपुरा तहसील के अंतर्गत आने वाले ग्राम अरनिया भाऊ, दीपा का डेरा, हनुमान खेड़ा, और कातला गांवों में गांधीसागर बांध के बेकवाटर में केमिकल की एक मोटी परत जमने से ग्रामीणों को गंभीर परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। करीब एक किलोमीटर के क्षेत्र में फैली इस केमिकल परत के कारण तेज दुर्गंध फैल गई है, जिससे गांव में रहने वाले लोग खासे चिंतित हैं। बेकवाटर के पास ही स्कूल और रिहायशी इलाके स्थित होने से समस्या और भी गंभीर हो गई है।
केमिकल के स्रोत की जांच जारी
इस मामले में प्रमुख चिंता का विषय यह है कि चंबल नदी में यह केमिकल कहां से आया। प्रशासन ने तुरंत संज्ञान लेते हुए जांच शुरू कर दी है। बेकवाटर क्षेत्र में रहने वाले ग्रामीणों ने शिकायत की तो प्रशासन हरकत में आया और अधिकारियों की टीम मौके पर पहुंची।
प्रशासन की त्वरित कार्रवाई
सूचना मिलने पर एसडीएम, जनपद सीओ, तहसीलदार, और पीएचई के अधिकारी प्रशांत सोनी (सहायक यंत्री भानपुरा) तथा उप यंत्री नेहा जायसवाल ने गांव का दौरा किया। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए हेडपंप तकनीशियन मनोहर शर्मा की मदद से अरनिया भाऊ और हनुमान खेड़ा के हेडपंप और शासकीय कुओं में क्लोरीन का रेशन किया गया, ताकि पानी को सुरक्षित किया जा सके।
ग्रामीणों में आक्रोश और चिंता
ग्रामीणों का कहना है कि लगातार फैलती बदबू और संभावित जल प्रदूषण ने उनकी जीवनशैली को प्रभावित किया है। गांव के बच्चों और बुजुर्गों के स्वास्थ्य को लेकर भी लोग काफी चिंतित हैं। अब प्रशासन से मांग की जा रही है कि जल्द से जल्द इस केमिकल के स्रोत का पता लगाकर इसे रोका जाए, ताकि गांव में सामान्य जीवन फिर से बहाल हो सके।