पूर्व विधायक यशपालसिंह सिसौदिया ने नकली खाद के 22 साल पुराने मामले के समाधान की मांग की

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मंदसौर। दलौदा तहसील के कचनारा फ्लेग में स्थित ग्रामीण साख सहकारी उमाहेडा पैक्स सोसायटी के गोदाम में पिछले 22 वर्षों से 50 मैट्रिक टन नकली खाद पड़ा हुआ है, जिसका अब तक डिस्पोजल नहीं किया गया है। इस गंभीर स्थिति को देखते हुए पूर्व विधायक और बीजेपी के प्रदेश प्रवक्ता यशपालसिंह सिसौदिया ने जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक के कलेक्टर एवं प्रशासक को पत्र लिखकर इस मुद्दे का शीघ्र समाधान करने की मांग की है।

गौरतलब है कि वर्ष 2002 में इस गोदाम में नकली खाद का मामला सामने आया था। इसके बाद से ही गोदाम का आधा हिस्सा इस नकली खाद के कारण अवरुद्ध पड़ा है। गोदाम के दूसरे हिस्से का उपयोग किसानों के लिए खाद और बीज के भंडारण के लिए हो रहा है, लेकिन नकली खाद के कारण गोदाम की पूरी भंडारण क्षमता का सही से उपयोग नहीं हो पा रहा है, जिससे किसान लगातार परेशान हो रहे हैं।

सिसौदिया ने बताया कि जिला विपणन अधिकारी (डीएएमओ) को माननीय न्यायालय ने खाद को बेचने का आदेश दिया था, लेकिन 22 साल बीत जाने के बाद भी न तो खाद बिका और न ही इस विवादित नकली खाद का कोई समाधान हो पाया। इस खाद की गुणवत्ता भी अब संदिग्ध हो गई है, जिसके कारण यह किसानों के लिए लाभकारी नहीं रह गई है।

उन्होंने कलेक्टर से अपील की है कि इस नकली खाद का शीघ्र डिस्पोजल किया जाए ताकि गोदाम की 100 मैट्रिक टन की भंडारण क्षमता का पूरा उपयोग किसानों के हित में किया जा सके। उन्होंने यह भी बताया कि नकली खाद के मामले में आरोपियों को न्यायालय से दोषमुक्त कर दिया गया है, जिससे अब इस मुद्दे के समाधान का मार्ग साफ हो गया है।

सिसौदिया ने कलेक्टर से निवेदन किया है कि वे इस मामले की अद्यतन स्थिति का परीक्षण करते हुए जल्द से जल्द उचित कदम उठाएं, ताकि गोदाम की पूरी क्षमता का लाभ किसानों को मिल सके और उनकी परेशानियों का अंत हो।

यह मुद्दा किसानों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है, और इसका त्वरित समाधान सुनिश्चित करने के लिए प्रशासनिक अधिकारियों से तत्काल कार्रवाई की अपील की गई है।

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